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नेशनल लोक अदालत का 14 दिसंबर को होगा आयोजन, सफल बनाने हुआ बैठक का आयोजन

AP NEWS आपकी आवाज विश्वराज ताम्रकार जिला ब्यूरो चीफ केसीजी

छत्तीसगढ़ राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण बिलासपुर व अध्यक्ष सुषमा सावंत जिला विधिक सेवा प्राधिकरण राजनांदगांव के निर्देशानुसार अध्यक्ष चन्द्र कुमार कश्यप तालुक विधिक सेवा समिति खैरागढ़ की अध्यक्षता में आज नेशनल लोक अदालत को सफल बनाने हेतु अपर कलेक्टर, एसडीम, बैंक, नगर पालिका, बीएसएनएल, विद्युत विभाग के अधिकारियों/कर्मचारियों व प्रतिनिधियों के साथ बैठक का आयोजन व्यवहार न्यायालय खैरागढ़ में हुआ।
ज्ञात हो कि आगामी नेशनल लोक अदालत 14.12.2024 को आयोजित होने वाला है उक्त नेशनल लोक अदालत में अधिक से अधिक प्रकरणों का निराकरण किए जाने के संबंध में तहसील विधिक सेवा समिति के अध्यक्ष चन्द्र कुमार कश्यप द्वारा अपर कलेक्टर, एसडीम, बैंक, नगर पालिका, बीएसएनएल, विद्युत विभाग के अधिकारियों/कर्मचारियों व प्रतिनिधियों के साथ मीटिंग आयोजित किया गया जिसमें विवेक गर्ग मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट, गुरु प्रसाद देवांगन जुडिशल मजिस्ट्रेट फर्स्ट क्लास, प्रेम कुमार पटेल अपर कलेक्टर, टंकेश्वर प्रसाद साहू एसडीएम, शाह बेग अहमद प्रo सीएमओ नगर पालिका खैरागढ़, पियूष चंद्र यदु नगर पालिका, प्रभात रंजन एसबीआई खैरागढ़,जयंत बिसेन छत्तीसगढ़ राज्य ग्रामीण बैंक, अनंता शाह आईडीबीआई बैंक, ओम प्रकाश पंजाब नेशनल बैंक और टी डी वर्मा विद्युत विभाग, , सी आर चूरेंद्र बीएसएनएल और पैरालीगल वालंटियर गोलूदास साहू, कला प्रजापति उपस्थित रहे।
उपस्थित अपर कलेक्टर, एसडीएम, प्रo सीएमओ, बैंक, नगर पालिका, बीएसएनएल, विद्युत विभाग के अधिकारियों/कर्मचारियों व प्रतिनिधियों के द्वारा ज्यादा से ज्यादा प्रकरणों के निराकरण हेतु प्रयास किए जाने के लिए जोर दिया गया एवं बताया गया कि उनके द्वारा नेशनल लोक अदालत में प्री लिटिगेशन प्रकरण निराकरण हेतु पेश किया गया है।

यहां उल्लेखनीय है कि आगामी नेशनल लोक अदालत में व्यवहार प्रकरण यथा संपत्ति संबंधी वाद, धन वसूली संबंधी वाद, बैंक एवं अन्य वित्तीय संस्थाओं से संबंधित मामले, राजीनामा योग्य दांडिक प्रकरण ,मोटर दुर्घटना दावा प्रकरण, परिवार न्यायालय में लंबित वैवाहिक एवं अन्य मामले, विशेष न्यायालय (विद्युत अधिनियम) में लंबित प्रकरण, अन्य राजस्व संबंधी समझौता योग्य मामले का निराकरण होता है।

लोक अदालत के लाभ

लोक अदालत में प्रकरणों के निपटारे से शीघ्र न्याय मिलता हैं । लोक अदालत में निपटारा प्रकारणों में दोनों पक्षों की जीत होती है। आपसी राजीनामा के कारण मामलों की अपील नहीं होती। दीवानी प्रकरणों के परिणाम तुरंत मिलता है।दावा प्रकरणों में बीमा कंपनी द्वारा राजीनामा मामलों में तुरंत एवार्ड राशि जमा कर दी जाती है। लोक अदालत में राजीनामा करने से बार-बार अदालतों में आने से रुपयों, समय की बर्बादी व अकारण परेशानी से बचा जा सकता है। लोक अदालत में राजीनामा करने से दीवानी प्रकरणों में कोर्ट फीस पक्षकारों को वापस मिल जाती है, किसी पक्ष को सजा नहीं होती। मामले को बातचीत द्वारा सफाई से हल कर लिया जाता है।सभी को आसानी से न्‍याय मिल जाता है।
फैसला अन्तिम होता है।फैसला के विरूद्ध कहीं अपील नहीं होती है।

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