लोरमी:- नवाचारी शिक्षकों का जोन स्तरीय कबाड़ से जुगाड़ कार्यशाला कोतरी में संपन्न,शिक्षकों ने दिखाया अपना हुनर
राष्ट्रीय आविष्कार अभियान के अंतर्गत सरकारी स्कूल के शिक्षकों ने शैक्षणिक गतिविधियों को रोचक और उपयोगी बनाने के लिए एक से बढ़कर एक मॉडल प्रस्तुत किए।जिसमें प्रमुख रूप से चंद्रयान थ्री का सफल प्रक्षेपण का मॉडल,श्वसन तंत्र,दिल की धड़कन मापने वाले यंत्र,पवन ऊर्जा,मात्राओं का ज्ञान,गणितीय संक्रियाएं,नंबर पलटो अक्षर ज्ञान,अंग्रेजी व्याकरण का सरलीकरण विधि जैसे मॉडल प्रस्तुत किए गए।जो बिना किसी व्यय के ही तैयार किए गए थे।कार्यक्रम का संचालन करते हुए राजकुमार कश्यप ने बताया कि विकास खंड शिक्षा अधिकारी लोरमी डी.एस.राजपूत व खंड समन्वयक के द्वारा संकुलों को निर्देशित किया गया था कि बच्चों की प्रतिभा को निखारने व शिक्षकों के भीतर नवाचारी भावों की अभियक्ति के लिए कबाड़ से जुगाड़ कार्यशाला व क्विज प्रतियोगिता शाला स्तर पर,संकुल और फिर जोन व विकासखंड स्तर पर कार्यक्रम आयोजित किए जाए जिसमें आज कोतरी जोन जिसमें सेमरसल, पठारीकापा,देवरहट, खेकतरा,कोतरी संकुल के शिक्षक व छात्र छात्राएं सहभागी हुए।प्राथमिक स्कूलों के शिक्षकों द्वारा हिंदी,गणित,अंग्रेजी के विषय पर मॉडल बनाना और माध्यमिक स्तर के शिक्षकों का विज्ञान और गणित के विभिन्न पहलुओं को सरलता से और रोचक तरीके से बताया गया जिससे बच्चों के अंदर सीखने की क्षमता का विकास हो सके।चंद्रयान थ्री का सफल लैंडिंग को प्लास्टिक बॉटल के माध्यम से प्रायोगिक करके बताया गया।फेफड़ों की क्रियाविधि को बलून,सिरिंज व बॉटल जुगाड़ कर व पाचन तंत्र को प्रभावी ढंग से प्रस्तुत करने पर प्रथम स्थान पुष्पा चतुर्वेदी मैडम और पूरे शाला स्टॉफ पूर्व माध्यमिक शाला सेमरसल को चयनित किया गया साथ ही द्वितीय स्थान सुशील कुमार कौशिक पठारीकापा को मिला। प्राथमिक स्तर के शिक्षकों में रमेश कुमार राठौर प्राथ.शाला सेम्हरापारा प्रथम व वरीसा मांडवी रबेली द्वितीय स्थान प्राप्त किए।छात्राओं में प्रियंका साहू कक्षा 8वी मिडिल स्कूल औरबांधा,तिलेश्वरी साहू 8वी मसना को मिला।
जोन स्तर पर मेजबानी कर रहे संकुल समन्वयक कोतरी गिरीश क्षत्री ने बताया कि सम संख्या,विषम संख्या,पूर्ववर्ती,परवर्ती,भाज्य अभाज्य,भाषाई कौशलों पर आधारित अनेक प्रारूपों का बढ़िया आत्मविश्वास के साथ उल्लेख किया गया।एकदम नया नया मॉडल प्रस्तुत किए गए जिससे स्कूल में विषय की समझ आसान होगी ही साथ ही विद्यार्थियों में जिज्ञासु प्रवृत्ति निर्माण भी होगी।प्रमुख रूप से संकुल समन्वयक रामकुमार साहू,विनोद जांगड़े,चंद्रेश कश्यप तो वहीं निर्णायक के रूप में विश्वनाथ योगी,नीता कश्यप,राजकुमार कश्यप रहें।रमेश राजपूत,तामेश्वर कश्यप,नरेश दुबे, बलिसिंह,आरती सलूजा,स्मिता क्षत्रि,महेश कश्यप,दुर्गेश कश्यप,केदार सिंह क्षत्रिय,दिलहरण ध्रुव,कृष्णकुमार तिवारी,विनोद कश्यप सुशील कौशिक,प्रदीप राठौर,किशन पारधी,पुष्पा चतुर्वेदी,अनुज बंजारे रहे।विश्वनाथ योगी ने कहा कक्षा कार्य में अधिक से अधिक शिक्षण मॉडल का उपयोग करें।कार्यक्रम का आभार प्रदर्शन रामकुमार साहू ने किया।