केशलीगोड़ान में स्वामी विवेकानंद की 121वीं पुण्यतिथि मनाई गई
पंडरिया- बिरकोना संकुल अंतर्गत संचालित शासकीय प्राथमिक शाला केशली गोड़ान में स्वामी विवेकानंद की 121 वीं पुण्यतिथि मनाई गई। स्वामी विवेकानंद जी का जन्म 12जनवरी1863 में हुआ था और 4 जुलाई 1902 को मात्र 39 वर्ष की अल्पायु में ही निधन हो गया। उनके चित्र पर माल्यार्पण कर श्रद्धांजलि अर्पित की गई। इस अवसर पर प्रधानपाठक शिवकुमार बंजारे ने कहा कि स्वामी विवेकानंद का जीवन एक आदर्श पुरुष के रूप में स्थापित रहा है।
हम सभी को स्वामी जी के जीवन से कुछ सीख लेकर समाज में अपना योगदान करना चाहिए। युवा सन्यासी के रूप में भारतीय संस्कृति की सुगंध संसार में बिखेरने वाले स्वामी जी के विचार और जीवन हमेशा प्रेरणा स्रोत रहेंगे। शिक्षिका लता चांदसे ने स्वामी विवेकानंद के संदेश को कहानी के माध्यम से प्रस्तुत की जिसमें बच्चों के लिए स्वामी विवेकानंद जी के प्रेरक संदेश केवल 1.अपने लक्ष्य पर ध्यान लगाएं 2.सत्य का साथ कभी ना छोड़े 3.मुसीबत में डर कर भागने के बजाय उनका सामना करें 4.देने का आनंद पाने के आनंद से बड़ा है, जैसे प्रेरक प्रसंग को प्रस्तुत की। व्यक्तित्व निर्माण में महापुरुषों से जुड़ी हुई किस्से बहुत ही प्रभाव पैदा करती है। विद्यालय में 2 मिनट का मौन रखकर विद्यार्थियों श्रद्धा सुमन अर्पित किए।